Rozi Me Barkat Ki Dua Hindi | रोज़ी में बरकत का वज़ीफ़ा और दुआ

rozi me barkat ki dua hindi

Rozi Me Barkat Ki Dua Hindi |

रोज़ी में बरकत का वज़ीफ़ा और दुआ

क्या आप रोज़ी रोटी की तंगी से परेशान हैं?

क्या आप की ज़रूरतें पूरी नहीं हो रही हैं ?

और इस तंगी की वजह से आप अपने माँ बाप बीवी बच्चों की जिम्मेदारियां पूरी नहीं कर पा रहे हैं?

क्या आप अपनी रोज़ाना की कमाई में बरकत चाहते हैं एक खुशहाल और हँसता बसता घर चाहते हैं ?

तो आप बिलकुल सही जगह पर मौजूद हैं और आपको आज रिज्क और रोज़ी का इतना बेहतरीन वज़ीफ़ा (Rozi Me Barkat Ki Dua Hindi) मालूम हो जायेगा जिसपर अमल करने के बाद इंशाअल्लाह आपकी ज़िन्दगी में इन्किलाब आ जायेगा, और आपके घर की हालत पहले जैसी नहीं रहेगी बल्कि उसमें बरकत और खुशहाली का बसेरा हो जायेगा

मुझे ये वज़ीफ़ा कैसे मालूम हुआ ?

मैं आम तौर से बुजुर्गों के बताये वज़ाइफ और दुआएं सुनता रहता हूँ और पढता भी रहता हूँ, तो ये वज़ीफ़ा जिसको मैं बताने जा रहा हूँ मैंने कई बुजुर्गों और आलिमों को बताते हुए सुना कि उन्होंने इसको अपने उस्ताद से सुना है और इसका तजरिबा करने पर बड़े फ़ायदे हासिल हुए हैं

एक शख्स का वाकिया है कि उसने हज़ार के नोट कभी नहीं गिने थे क्यूंकि कभी एक साथ इतने पैसे आये ही नहीं थे, तो उसे जब ये वज़ीफ़ा बताया गया और उसने इस पर अमल शुरू कर दिया आख़िर एक दिन ऐसा भी आया कि हज़ार तो छोड़ो वो लाखों भी गिनने लगा

और ये कोई नई बात नहीं है कि किसी एक साथ ही ऐसा हुआ बल्कि इस तरह से कई लोग दुआओं और वजीफों से अपनी हलाल कमाई में बरकत हासिल करते हैं और क़ुर आनी दुआओं का असर उन पर वैसे ही पड़ता है जैसे सहाबा की ज़िन्दगी में था

उनकी दुआओं में असर क्यूँ हुआ ?

कुछ लोगों को दुआओं और वज़ीफों से फ़ायदा मिल जाता है और कुछ को नहीं, दोनों में फ़र्क यक़ीन का है

एक शख्स है, जो यक़ीन के साथ इन दुआओं को अल्लाह के सामने करता रहा चाहे कुछ दिनों तक फ़ायदा मिला हो या ना मिला हो वो लगा रहा , दूसरा शख्स है जो बहुत जल्दबाज़ है जिसने कुछ दिनों तक तो अमल किया लेकिन फ़ायदा न दिखने पर उसने अमल को छोड़ दिया और मायूस हो गया, तो अब आप ख़ुद फ़ैसला कीजिये कि कौन है जो सही तौर पर बरकत का हक़दार है और किसे अल्लाह की रहमत मिलना चाहिए

वो जो चन्द दिनों में ही थक गया और दुआएं जैसे मजदूरी के तौर पर पढ़ रहा था, कि शाम तक मजदूरी न मिली तो अगले दिन काम ही करने नहीं आया, या वो जो दुआ के पढ़ने पर पाबन्द हो गया इस यक़ीन के साथ कि अल्लाह हमारे साथ है और अगर दुआ क़ुबूल होने में देर हो रही है तो इसमें ज़रूर कुछ मसलिहत है आज नहीं तो कल मुराद ज़रूर मिलेगी

Rozi Me Barkat Ki Dua In Hindi

खैर ये कुछ अहम् बातें थीं जो करनी ज़रूरी थीं, अब हम् रोज़ी में बरकत का वज़ीफ़ा बताते हैं जो बहुत आसान है और हर शख्स इस पर अमल कर सकता है और क़ुर आन की छोटी सूरह है जिसको हमें पढ़ना है इसमें हमें चार काम करने हैं

1. हर फ़र्ज़ नमाज़ के बाद पढ़ना है
2. एक बार दुरूद शरीफ़
3. 7 बार सूरह क़ुरैश (30 वें पारे में सिर्फ़ दो लाइन की छोटी सी सूरह है)

Surah Quraish In Hindi

लि ईलाफि कुरैश
ईलाफिहिम रिह्लतश शिताई वस सैफ
फल यअ बुदू रब्बा हाज़ल बैत
अल्लज़ी अत अ-महुम मिन जू’अ
व आमनहुम मिन खौफ

जब आख़िर की दो आयतों पर पहुंचें ( जो रेड हैं ) तब अपनी परेशानी का ख्याल करें कि या अल्लाह मेरी रोज़ी का मसअला है या मुझे फुला परेशानी है

4. एक बार दुरूद शरीफ़

दुरूद शरीफ़ पढ़ने के लिए क्लिक करें

बस, इतना हर फ़र्ज़ नमाज़ के बाद कर लें, इंशाअल्लाह आप बरकत से ज़रूर मालामाल होंगे, क्यूंकि इस वज़ीफे के करने वाले को अल्लाह ने ख़ूब नवाज़ा है, बस पूरे यक़ीन के साथ आप करते रहिये

अल्लाह हमारी मुश्किलें आसान फरमाए

आमीन

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